अलीगढ़ ( उत्तर प्रदेश):- अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय के छात्र फैजान अंसारी के आतंकी संगठन आइएसआइएस से जुड़े होने के आरोपों में गिरफ्तारी के बाद विश्वविद्यालय प्रशासन ने भले ही अभी कोई कार्रवाई न की हो, लेकिन उस पर यदि आरोप सिद्ध होते है तो निलंबन के साथ निष्कासन की कार्रवाई की जाएगी।
झारखंड के लोहरदगा जिले के निवासी फैजान उर्फ फैज को एनआइए की टीम ने गुरूवार को गिरफ्तार किया था। आरोप है कि फैजान ने भारत में आईएसआईएस गतिविधियों का समर्थन करने और विभिन्न सोशल मीडिया प्लेटफार्मों पर संगठन के प्रचार को फैलाने के लिए अपने सहयोगियों और अज्ञात व्यक्तियों के साथ आपराधिक साजिश रची थी। इस साजिश का मकसद आईएसआईएस की ओर से भारत में हिंसक आतंकी हमले करना था। जांच में सामने आया है कि फैजान और उसके सहयोगियों ने इस्लामिक स्टेट जॉइन किया था। आरोपी भारत में आईएसआईएस के कैडर बेस को मजबूत करने के लिए नव-धर्मांतरितों को कट्टरपंथी बनाने और उन्हें आतंकवादी बनाने प्रक्रिया में भी सक्रिय था।
वह विदेश स्थित आईएसआईएस संचालकों के संपर्क में भी था, जो उसे प्रतिबंधित संगठन में भर्ती के लिए मार्गदर्शन कर रहे थे। आईएसआईएस के अन्य सदस्यों के साथ वह हिंसक कार्रवाइयों की योजना बना रहा था और विदेश में आईएसआईएस संघर्ष थिएटर में हिजरत करने पर विचार कर रहा था। फैजान की गिरफ्तार के बाद एएमयू पर एक बार फिर दाग लगा है। पहले कश्मीर निवासी मन्नान वाणी ने आतंकी संगठन में शामिल होकर विवि की किरकिरी करायी थी। अब फैजान पर इस तरह के आरोप और गिरफ्तारी से कैंपस में हर कोई हैरान है।
फैजान ने वर्ष 2022-23 में बीए ऑनर्स इकोनोमिक्स में दाखिला लिया था। फैजान पर कार्रवाई को लेकर विवि प्रशासन का कहना है कि अभी अधिकारिक पुष्टि का इंतजार किया जा रहा है। जैसे ही खुफिया एजेंसियों और पुलिस की ओर से कोई पत्र आएगा, तुरंत कार्रवाई की जाएगी। विवि के अधिकारियों का कहना है कि आरोप सिद्ध होते ही निलंबन के साथ निष्कासन की कार्रवाई की जाएगी।
एएमयू के कंट्रोलर डिपार्टमेंट की पड़ताल में सामने आया है कि फैजान एएमयू में दाखिला लेने के लिए प्रवेश परीक्षा में बेहतर अंक पाया था। उच्च अंक के आधार पर उसको बिना किसी वेटिंग के आसानी से दाखिला मिल गया था।