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छत्तीसगढ़ शराब घोटाला! आबकारी अधिकारी अरुण पति त्रिपाठी को नियमित जमानत

छत्तीसगढ़ : सुप्रीम कोर्ट ने छत्तीसगढ़ के पूर्व आबकारी अधिकारी अरुण पति त्रिपाठी को नियमित जमानत दे दी है, जिन पर छत्तीसगढ़ शराब घोटाला मामले में मनी लॉन्ड्रिंग का आरोप था, हालांकि त्रिपाठी को जेल से रिहा नहीं किया जाएगा क्योंकि उन पर आर्थिक अपराध शाखा द्वारा दायर एक अन्य मामला चल रहा है।

PMLA का दहेज कानून की तरह ही दुरुपयोग

जस्टिस अभय एस ओका और जस्टिस ऑगस्टिन मसीह की पीठ ने कहा कि धन शोधन निवारण अधिनियम (PMLA) के प्रावधानों का इस्तेमाल किसी को हमेशा के लिए जेल में रखने के लिए नहीं किया जा सकता। कोर्ट ने प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) को भी फटकार लगाते हुए कहा कि PMLA का दहेज कानून (धारा 498ए) की तरह दुरुपयोग किया जा रहा है।

कोर्ट ने इसे बताया गंभीर मामला

पिछली सुनवाई के दौरान ईडी की ओर से पेश अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल एसवी राजू ने ईडी द्वारा दायर हलफनामे पर सवाल उठाते हुए कहा था कि एजेंसी के भीतर कुछ गड़बड़ है। कोर्ट ने इसे गंभीर मामला बताया था। बता दें कि ईडी ने त्रिपाठी को शराब घोटाला मामले में मई 2023 में गिरफ्तार किया था। आबकारी विभाग के वरिष्ठ अधिकारी त्रिपाठी ने छत्तीसगढ़ राज्य विपणन निगम लिमिटेड के एमडी के रूप में भी काम किया था।

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