सहजन जिसे मुगना ड्रमस्टिक या सुजना भी कहा जाता है एक अत्यधिक पोषक तत्वों से भरपूर आहार है जिसे भारतीय घरों में अक्सर इस्तेमाल किया जाता है। 2008 में इसे प्लांट ऑफ दी ईयर का खिताब भी मिला था। इसका वैज्ञानिक नाम मोरिगा ओलिफेरा है और इसकी फली हरी रंग की होती है, जो खाने में हल्की कड़वी लगती है। हालांकि इसके स्वास्थ्य लाभों के कारण इसे दुनिया का सबसे ज्यादा पोषक आहार भी माना जाता है।
सहजन के स्वास्थ्य लाभ
सहजन का पौधा न केवल हमारे शरीर के लिए बल्कि पर्यावरण के लिए भी अत्यंत लाभकारी है। इसमें भरपूर मात्रा में विटामिन ए, बी, सी और बी-कॉम्प्लेक्स, कैल्शियम, प्रोटीन, और एंटी-ऑक्सीडेंट्स होते हैं जो हमारे शरीर को आवश्यक पोषण प्रदान करते हैं। इसके सेवन से शरीर को कई तरह के लाभ मिलते हैं।
कैंसर और डायबिटीज से बचाव: सहजन का सेवन कैंसर और डायबिटीज जैसी खतरनाक बीमारियों के जोखिम को कम करने में मदद करता है।
पाचन तंत्र की समस्या का समाधान: पेट की समस्याओं जैसे कब्ज, पेट दर्द, और एसिडिटी में सहजन बहुत फायदेमंद साबित होता है।
मोटापे पर नियंत्रण: सहजन में पोटैशियम, कैल्शियम, और प्रोटीन की उच्च मात्रा होती है, जो वजन घटाने में मदद कर सकती है।
हृदय रोग और उच्च रक्तचाप: हृदय के स्वास्थ्य के लिए सहजन का सेवन लाभकारी है और यह उच्च रक्तचाप को नियंत्रित करने में मदद करता है।
सर्दी-जुकाम और एलर्जी से राहत: इसके एंटी-ऑक्सीडेंट गुण सर्दी-जुकाम और एलर्जी से राहत दिलाते हैं।
सहजन का पर्यावरण पर प्रभाव
सहजन का पौधा पर्यावरण के लिए भी बहुत लाभकारी है। यह कम पानी में उगता है और मिट्टी की गुणवत्ता को भी सुधारता है। इसके अलावा इसका उपयोग न केवल खाने के लिए किया जाता है बल्कि इसके पौधों और पत्तियों का इस्तेमाल औषधियों और अन्य घरेलू उपायों में भी किया जाता है।
सहजन को अपनी डाइट में शामिल करना स्वास्थ्य के लिए अत्यंत लाभकारी हो सकता है। इसकी पोषणात्मक विशेषताएँ इसे एक सुपरफूड बनाती हैं जो कई बीमारियों से बचाव और उपचार में सहायक है। यदि आप गुजरात के अहमदाबाद शहर में रहते हैं तो यह निश्चित ही एक बेहतरीन विकल्प हो सकता है, जिसे आप अपनी डेली डाइट में शामिल कर सकते हैं।