नई दिल्ली:- देश भर में आज यानी 7 मई 2025 को नागरिक सुरक्षा (सिविल डिफेंस) की मॉक ड्रिल आयोजित की जा रही है। इस अभ्यास का उद्देश्य युद्ध, हवाई हमले या किसी भी गंभीर आपात स्थिति से निपटने की राष्ट्रीय तैयारी का परीक्षण करना है।
मॉक ड्रिल के दौरान क्या होगा?
– ब्लैकआउट: मॉक ड्रिल के दौरान रात 7 बजे से 2 घंटे का ब्लैकआउट यानी पूरी तरह से अंधेरा कर दिया जाएगा। इसका मतलब है कि इस दौरान सभी को घरों, संस्थानों और सड़कों की लाइटें बंद करनी होंगी, ताकि दुश्मन की नजर से बचा जा सके।
– सायरन: चेतावनी के तौर पर सायरन बजाए जाएंगे। सायरन सुनते ही लोगों को सतर्क होकर सुरक्षित स्थानों जैसे बंकर, सुरक्षित कमरे में चले जाना होगा या खुले स्थान से दूर रहना होगा।
– आपातकालीन टीमें: आपातकालीन टीमें लोगों को यह सिखाएंगी कि ऐसी स्थिति में कहां छुपना है, किससे संपर्क करना है और क्या जरूरी सामान अपने पास रखना है जैसे पीने का पानी, जरूरी दवाएं, टॉर्च और रेडियो।
राज्यों में मॉक ड्रिल की तैयारियां
– बिहार: बिहार में मॉक ड्रिल के लिए जिलों को तीन श्रेणियों में बांटा गया है। पूर्णिया और कटिहार श्रेणी-2 में शामिल हैं। पटना समेत 6 जिलों में मॉक ड्रिल किया जाएगा, जिनमें पटना, पूर्णिया, कटिहार, अररिया, किशनगंज और बेगूसराय शामिल हैं।
– मॉक ड्रिल के समय: बिहार में शाम 7 बजे से 7:10 बजे तक “ब्लैकआउट” अभ्यास किया जाएगा। इस दौरान सायरन बजाकर नागरिकों को सतर्क किया जाएगा.
मॉक ड्रिल का उद्देश्य
मॉक ड्रिल का मुख्य उद्देश्य नागरिकों को युद्ध जैसी आपात स्थिति विशेष रूप से हवाई हमले या अन्य हमलों से निपटने के लिए तैयार करना है। इस अभ्यास से सरकार और आम नागरिकों को यह अनुभव होगा कि युद्ध या बड़े आतंकी हमले जैसी किसी भी स्थिति से किस तरह संयम और योजना के साथ निपटा जा सकता है।
नागरिकों के लिए निर्देश
– सुरक्षित स्थान: मॉक ड्रिल के दौरान लोगों को सुरक्षित स्थानों जैसे बंकर या मजबूत इमारतों में जाने का अभ्यास कराया जाएगा।
– प्राथमिक चिकित्सा: प्राथमिक चिकित्सा का प्रशिक्षण दिया जाएगा।
– स्कूलों और कॉलेजों में विशेष सत्र: स्कूलों और कॉलेजों में विशेष सत्र आयोजित किए जाएंगे।
आज होने वाली मॉक ड्रिल देश की नागरिक सुरक्षा तैयारियों का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है। इससे नागरिकों को आपात स्थिति में अपनी सुरक्षा और बचाव के तरीके सीखने का अवसर मिलेगा।