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हिम्मत और जुनून: केरल की 59 वर्षीय दर्जी यूट्यूब से टिप्स अपनाकर एवरेस्ट बेस कैंप तक पहुंची

त्रिवेंद्रम (केरल) : केरल की 59 वर्षीय वासंती चेरुवेटिल हैं जिन्होंने दिखाया है कि सपनों की कोई उम्र सीमा नहीं होती। इस प्रेरणादायक दर्जी ने बिना किसी औपचारिक प्रशिक्षण के एवरेस्ट बेस कैंप तक का सफर तय किया, खुद को यूट्यूब पर ट्रैकिंग तकनीक सिखाई और अपने ट्रेक के दौरान संवाद करने के लिए हिंदी भी सीखी।

उन्होंने 15 फरवरी को नेपाल के सुरके से अपना ट्रेक शुरू किया और 23 फरवरी, 2025 को 5,364 मीटर ऊंचे बेस कैंप पर पहुंचीं। इस अवसर का जश्न मनाने के लिए उन्होंने अपने ट्रेकिंग गियर के ऊपर केरल की पारंपरिक ‘कासवु’ साड़ी पहनी और भारतीय ध्वज लहराया।

उनकी यात्रा आसान नहीं थी। बिना गाइड के उन्होंने एक जर्मन जोड़े द्वारा सुझाए गए कुली को काम पर रखा। उन्होंने इसे धीरे-धीरे आगे बढ़ाया और बहुत सारे ब्रेक के साथ ऊंचाई की बीमारी से जूझीं। अपनी वापसी पर उन्होंने एक और सपना साकार किया – गोरक शेप से लुक्ला तक हेलीकॉप्टर उड़ाना।

यह उनकी पहली एकल यात्रा नहीं है। 2024 में उन्होंने अकेले थाईलैंड की यात्रा करके मानदंडों को तोड़ दिया। अपने बेटों विनीत और विवेक के साथ वह अपने सिलाई व्यवसाय के माध्यम से अपनी यात्राओं का वित्तपोषण करती हैं।

मैं जल्द ही 60 वर्ष की हो जाऊँगी – शायद मैं बाद में साहसिक ट्रेक नहीं कर पाऊँगी,” वह कहती हैं। लेकिन चीन की महान दीवार उनकी बकेट लिस्ट में है इसलिए वासंती उम्र को खुद को परिभाषित करने वाली नहीं हैं।

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