नई दिल्ली:- प्रधानमंत्री संग्रहालय एवं पुस्तकालय सोसाइटी के सदस्य रिज़वान कादरी ने कांग्रेस नेता राहुल गांधी को एक पत्र लिखा है जिसमें उन्होंने भारत के पहले प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू द्वारा एडविना माउंटबेटन जेपी (जयप्रकाश नारायण) और वैज्ञानिक अल्बर्ट आइंस्टाइन को लिखी चिट्ठियों को वापस करने की मांग की है। यह चिट्ठियां 1971 में नेहरू मेमोरियल म्यूजियम एंड लाइब्रेरी को सौंपी गई थीं लेकिन वर्तमान में इनके वहां पर होने के प्रमाण नहीं हैं। पीएमएमएल का मानना है कि ये दस्तावेज न केवल ऐतिहासिक महत्व के हैं बल्कि शोध और सार्वजनिक हित के लिए उनकी उपलब्धता आवश्यक है।
रिज़वान कादरी ने अपने पत्र में कहा है हमें समझ में आता है कि ये चिट्ठियां नेहरू परिवार के लिए व्यक्तिगत महत्व रखती होंगी। हालांकि, ये दस्तावेज राष्ट्रीय धरोहर का हिस्सा हैं और उन्हें संग्रहालय का हिस्सा बनाना चाहिए ताकि वे जनता के लिए उपलब्ध हो सकें। पीएमएमएल ने यह भी कहा कि इन चिट्ठियों का ऐतिहासिक मूल्य है और उनके संग्रह से देश के इतिहास को बेहतर तरीके से समझने में मदद मिलेगी। राहुल गांधी से अनुरोध किया गया है कि वे इन चिट्ठियों को संग्रहालय को लौटा दें।
नेहरू मेमोरियल म्यूजियम एंड लाइब्रेरी जिसे अब प्रधानमंत्री संग्रहालय के रूप में जाना जाता है भारत के ऐतिहासिक और सांस्कृतिक दस्तावेजों को संरक्षित करने के लिए प्रसिद्ध है। 1971 में संग्रहालय को ये चिट्ठियां नेहरू परिवार की ओर से सौंपी गई थीं लेकिन अब उनके होने के प्रमाण न मिलने से यह मुद्दा चर्चा में है। इस विवाद से ऐतिहासिक दस्तावेजों की सार्वजनिक उपलब्धता और उनके संरक्षण पर एक नई बहस छिड़ गई है। इस पत्र के बाद राहुल गांधी की प्रतिक्रिया का इंतजार है।