मध्यप्रदेश: मध्यप्रदेश में घटिया सड़क बनाने वाले ठेकेदारों के खिलाफ एक बड़ी कार्रवाई सामने आई है। यह मामला तब सामने आया जब लोक निर्माण विभाग (पीडब्ल्यूडी) ने 10 जिलों के इंजीनियरों की मिलीभगत से घटिया सड़क निर्माण की शिकायत की। बताया गया कि इन इंजीनियरों ने ठेकेदारों को क्लीन चिट दे दी जिससे उन्हें बिना किसी रोक-टोक के काम जारी रखने की अनुमति मिल गई। ठेकेदार की कार्यक्षमता सुरक्षा के तहत 5 करोड़ रुपये जब्त करने की प्रक्रिया चल रही थी लेकिन संबंधित अधिकारियों ने नोटशीट में संशोधन करते हुए पैसे वापस करने की सिफारिश की। इस प्रकरण की गंभीरता को देखते हुए उच्च अधिकारियों ने इस मामले की जांच शुरू की है और 23 अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई की गई है। विशेष रूप से ठेकेदार की कार्यक्षमता सुरक्षा के तहत 5 करोड़ रुपये जब्त करने की प्रक्रिया चल रही थी। लेकिन नोटशीट में संदिग्ध संशोधन करते हुए अधिकारियों ने पैसे वापस लौटाने की सिफारिश की। इस प्रकार की कार्रवाई ने भ्रष्टाचार के मामले को और भी गंभीर बना दिया है।
सरकार ने अब इस मामले में सख्त कदम उठाने का निर्णय लिया है। 23 अधिकारियों के खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई की गई है और उन्हें निलंबित किया गया है। इसके अलावा विभाग ने भविष्य में ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति को रोकने के लिए कड़े मानक और नियम लागू करने का निर्णय लिया है। इस मामले ने न केवल मध्यप्रदेश की सड़क निर्माण प्रक्रिया की गुणवत्ता को चुनौती दी है बल्कि जनता के विश्वास को भी हिलाकर रख दिया है। लोग अब सरकार से यह उम्मीद कर रहे हैं कि वह ऐसे भ्रष्टाचार के मामलों में सख्त कदम उठाएगी और सड़कों की स्थिति में सुधार लाएगी।
सरकारी अधिकारियों की जिम्मेदारी पर सवाल उठते हुए अब यह देखना होगा कि विभाग इस स्थिति को कैसे संभालता है और भविष्य में ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए क्या कदम उठाता है।