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चुनाव आयोग द्वारा रायतु बंधु की अनुमति वापस लेने के लिए कांग्रेस को ठहराया जिम्मेदार

नई दिल्ली:- भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) ने सोमवार को भारतीय चुनाव आयोग (ईसीआई) द्वारा रायतु बंधु योजना के तहत वितरण की अनुमति वापस लेने के लिए कांग्रेस पार्टी को जिम्मेदार ठहराया।

बीआरएस विधायक के. कविता ने आरोप लगाया कि कांग्रेस ने एक बार फिर दिखाया है कि वह किसान विरोधी है। उन्होंने दावा किया कि यह कांग्रेस पार्टी की असुरक्षा को दर्शाता है। पिछले 10 सीज़न के दौरान 65 लाख किसानों के बीच 72,000 करोड़ रुपये वितरित किए गए थे और किसान बीआरएस के समर्थन में हैं।

वह रायतु बंधु के तहत किसानों को धन वितरित करने के लिए दो दिन पहले दी गई अनुमति वापस लेने के ईसीआई के फैसले पर प्रतिक्रिया दे रही थीं।

ईसीआई ने सोमवार को आदर्श आचार संहिता और संबद्ध शर्तों के उल्लंघन का हवाला देते हुए अनुमति वापस ले ली।

कविता ने निज़ामाबाद में संवाददाताओं से कहा कि रायथु बंधु एक चालू कार्यक्रम है और योजना के तहत 10 सीज़न के लिए वितरित की गई है।

उन्होंने कहा कि जब ईसीआई ने वितरण की अनुमति नहीं दी तो बीआरएस ने आपत्ति जताई थी और कानूनी सेल के एक अभ्यावेदन पर ईसीआई ने राहत दी। लेकिन कांग्रेस पार्टी फिर से चुनाव आयोग के पास गई और इसे रुकवा दिया। इससे कृषि ऋण माफी भी रुक गई।

गौरतलब हैै कि रायतु बंधु के तहत, बीआरएस सरकार हर साल प्रति एकड़ 10,000 रुपये (प्रत्येक फसल के लिए 5,000 रुपये) की वित्तीय सहायता प्रदान कर रही है।

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