लखनऊ( उत्तर प्रदेश ):- उत्तर प्रदेश सरकार ने 2047 तक हर शहर को स्मार्ट बनाने का लक्ष्य निर्धारित किया है। इसके तहत प्रदेश के विभिन्न हिस्सों में 5 इंटरनेशनल स्मार्ट सिटीज का निर्माण किया जाएगा। यह परियोजना पूर्वांचल से बुंदेलखंड तक विकास को नई उड़ान देगी और अपशिष्ट प्रबंधन में वैज्ञानिक आधार पर विकास को बढ़ावा देगी।
स्मार्ट सिटी परियोजना के मुख्य बिंदु
– 5 इंटरनेशनल स्मार्ट सिटीज: लखनऊ सहित 5 जिलों में योजनाबद्ध विकास मॉडल के तहत स्मार्ट सिटीज का निर्माण किया जाएगा।
– अपशिष्ट प्रबंधन: वैज्ञानिक आधार पर अपशिष्ट प्रबंधन को बढ़ावा दिया जाएगा, जिससे शहरों को स्वच्छ और स्वस्थ बनाया जा सके।
– पूर्वांचल से बुंदेलखंड तक विकास: इस परियोजना के तहत पूर्वांचल और बुंदेलखंड जैसे पिछड़े क्षेत्रों में विकास को बढ़ावा दिया जाएगा।
– 2047 तक लक्ष्य: उत्तर प्रदेश सरकार का लक्ष्य 2047 तक हर शहर को स्मार्ट बनाने का है, जो कि एक महत्वाकांक्षी और दूरगामी लक्ष्य है।
स्मार्ट सिटी की विशेषताएं
–आधुनिक बुनियादी ढांचा: स्मार्ट सिटीज में आधुनिक बुनियादी ढांचे का निर्माण किया जाएगा जिसमें सड़कें, पुल, और सार्वजनिक परिवहन प्रणाली शामिल होंगी।
– स्मार्ट गवर्नेंस: स्मार्ट सिटीज में नागरिकों को बेहतर सेवाएं प्रदान करने के लिए स्मार्ट गवर्नेंस मॉडल का उपयोग किया जाएगा।
– ऊर्जा संचयन: स्मार्ट सिटीज में ऊर्जा संचयन को बढ़ावा दिया जाएगा जिससे ऊर्जा की बचत हो सके और पर्यावरण पर दबाव कम हो।
– नागरिक सुरक्षा: स्मार्ट सिटीज में नागरिक सुरक्षा को बढ़ावा देने के लिए आधुनिक सुरक्षा प्रणालियों का उपयोग किया जाएगा।
लखनऊ उत्तर प्रदेश की राजधानी है और स्मार्ट सिटी परियोजना में इसकी महत्वपूर्ण भूमिका होगी। लखनऊ में स्मार्ट सिटी के निर्माण के लिए विभिन्न परियोजनाओं को शुरू किया जाएगा जिसमें सड़क निर्माण, सार्वजनिक परिवहन प्रणाली, और अपशिष्ट प्रबंधन शामिल हैं।
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