बांग्लादेश (ढाका):-बांग्लादेश में अल्पसंख्यकों की सुरक्षा के लिए ढाका में सैकड़ों लोगों ने मार्च किया। यह मार्च इसलिए आयोजित किया गया ताकि हिंदू और अन्य अल्पसंख्यक समुदायों के खिलाफ हिंसा के बढ़ते मामलों के विरोध में आवाज उठाई जा सके।
इस वर्ष अगस्त में शेख हसीना के इस्तीफे के बाद बांग्लादेश में हिंदू समुदाय के घरों व्यवसायों और पूजा स्थलों पर हमले शुरू हो गए। हिंदू बौद्ध क्रिश्चियन यूनिटी काउंसिल ने बताया कि 4 अगस्त से 20 अगस्त के बीच पूरे देश में हिंदुओं पर 2010 हमले हुए जिनमें 69 मंदिर भी शामिल हैं। इन हमलों में 9 लोग मारे गए और 157 परिवारों की संपत्ति लूट ली गई।
इस मार्च का उद्देश्य सरकार से अल्पसंख्यकों की सुरक्षा के लिए कदम उठाने की मांग करना था। मार्च में शामिल लोगों ने अल्पसंख्यकों के अधिकारों की रक्षा और हिंसा के विरोध में नारे लगाए।
बांग्लादेश में अल्पसंख्यकों के खिलाफ हिंसा की घटनाएं बढ़ती जा रही हैं। हाल के वर्षों में देश में कई हमले हुए हैं जिनमें हिंदू, बौद्ध और ईसाई समुदायों के लोग शामिल हैं। इन हमलों में कई लोग मारे गए हैं और संपत्ति की क्षति हुई है।
सरकार ने अल्पसंख्यकों की सुरक्षा के लिए कदम उठाने का वादा किया है लेकिन अभी तक कोई ठोस कार्रवाई नहीं हुई है। मार्च में शामिल लोगों ने कहा कि वे सरकार से अल्पसंख्यकों की सुरक्षा के लिए तत्काल कार्रवाई की मांग करते हैं।
इस मार्च के साथ ही बांग्लादेश में अल्पसंख्यकों के अधिकारों की रक्षा के लिए आवाज उठाने वाले लोगों की संख्या बढ़ती जा रही है। लोग सरकार से अल्पसंख्यकों की सुरक्षा के लिए कदम उठाने की मांग कर रहे हैं।
– _अल्पसंख्यकों की सुरक्षा के लिए तत्काल कार्रवाई_
– _हिंसा के विरोध में कड़ी कार्रवाई_
– _अल्पसंख्यकों के अधिकारों की रक्षा_
इस मार्च से बांग्लादेश में अल्पसंख्यकों की सुरक्षा के मुद्दे पर चर्चा शुरू होने की उम्मीद है। लोग सरकार से अल्पसंख्यकों की सुरक्षा के लिए कदम उठाने की मांग कर रहे हैं।