पटना (बिहार):- बिहार के वैशाली में गंगा नदी पर बने पीपा पुल का बड़ा हिस्सा गंगा नदी में बह गया। वैशाली जिला मुख्यालय और राघोपुर प्रखंड को जोड़ने वाला बिदुपुर के जमींदारी घाट चकौसन पीपा पूल का करीब 35 फीट का हिस्सा पानी में बह गया है। पुल के बड़े हिस्से के बह जाने की वजह से बीच नदी में कई लोग फंस गए थे जिन्हें रेस्क्यू कर निकाल लिया गया है।
पुल बह जाने के बाद स्थानीय लोगों का कहना निर्धारित समय से एक माह बाद पीपा पुल पर परिचालन शुरू हुआ था। इसके साथ ही हमेशा आवागमन में कुछ ना कुछ समस्याएं आती रही। वहीं पुल बहने पर पुल निर्माण निगम के कनीय अभियंता इरफान अली बताया कि तेज हवा के कारण पीपा पुल किनारे से खुलकर बीच में आ गया है। उन्होंने कहा कि पुल को खोलने का निर्धारित समय 15 जून था लेकिन गंगा नदी में पानी कम होने की वजह से इसे नहीं खोला गया था।
पीपापुल के खुल जाने के बाद करीब ढाई लाख लोग इससे प्रभावित हुए हैं
राघोपुर प्रखंड के 22 पंचायत के लोगों का संपर्क हाजीपुर और दूसरी जगहों से टूट गया है। अब इनके लिए आवागमन का सहारा नाव ही बचा है। गंगा नदी पर दो पार्ट में बना पीपा पुल तेज आंधी तूफान में बह गया। पीपा पुल को खोलने का निर्धारित समय 15 जून तक था लेकिन जलस्तर कम होने की वजह से पुल निर्माण निगम ने इसे अभी नहीं खोला था।
जहां गंगा नदी में पानी कम होने की वजह से पुल को नहीं खोला गया वहीं पुल निर्माण निगम ने इसका रखरखाव बंद कर दिया था। इसके बाद मंगलवार को यह पुल तेज आंधी तूफान में बह गया। पानी में पुल बह जाने के बाद एकबार फिर राघोपुर के लोगों की जिंदगी अगले 6 महीने तक नाव पर टिक गई है। पुल बहने के बाद नाविकों ने तुंरत किराया दोगुना कर दिया। पहले प्रति खेप 10 रुपए किराया था जो अब बढ़कर 20 रुपए हो गया है। इसके साथ ही अब नाव पर ओवरलोडिंग होने की वजह से भी लोगों की जान पर खतरा मंडराता रहेगा।