बालासोर (ओडिशा): बालासोर हादसे के बाद छात्र बहानागा स्कूल में आने से डर रहे हैं। ओडिशा में बहनागा हाई स्कूल के छात्र अपनी कक्षाओं में वापस आने से डर रहे हैं। इस स्कूल में रेल हादसे के बाद शव रखे गए थे। बालासोर में दो जून को हुए रेल हादसे में 288 यात्रियों की मौत हुई थी। इस दुर्घटना के तुरंत बाद 65 साल पुराने इस स्कूल भवन में शवों को रखा गया था। रेस्क्यू ऑपरेशन के दौरान 1958 में बने बहानागा हाई स्कूल में शवों को रखा गया था। बाद में यहां से सभी शवों को भुवनेश्वर भेज दिया गया। अब यहां एक भी शव नहीं है लेकिन लोगों ने इस जगह को भूतहा मान लिया है। इस वजह से बच्चे यहां पढ़ना नहीं चाहते। परिजनों ने भी कहा कि वे अपने बच्चों का स्कूल बदल देंगे।
छात्रों के डर की बात सामने आने के बाद बालासोर के जिला कलेक्टर दत्तात्रेय भाऊसाहेब शिंदे ने भी स्कूल का दौरा किया। इस दौरान उन्होंने स्कूल प्रबंधन समिति के सदस्यों, प्रधानाध्यापिका और अन्य कर्मचारियों के साथ ही स्थानीय लोगों से मुलाकात की। सभी ने 65 साल पुराने इस स्कूल की इमारत को गिराकर इसे फिर बनाने की मांग की।
कलेक्टर दत्तात्रेय भाऊसाहेब शिंदे ने बताया, “मैंने स्कूल का दौरा किया हुआ है और ये भवन काफी पुराना है और ये कभी भी गिर सकता है। इस भवन के बैकअप के लिए नए भवन का निर्माण किया जा रहा है। छात्र उस भवन में अस्थायी रूप से शिफ्ट कर दिए जाएंगे क्योंकि स्कूल 16 जून से खुलने वाले हैं। छात्र इस पुराने भवन की वजह से डर रहे थे। बच्चों और शिक्षकों के काउंसलिंग के लिए काउंसलिंग टीम भेजी जा रही है।”
बहानागा स्कूल की एक शिक्षक ने कहा कि इतना बड़ा हादसा हुआ है इस वजह से बच्चों में डर का माहौल है। हादसे के पहले सभी बच्चे खुशी से स्कूल आ रहे थे लेकिन अब स्कूल आने के लिए वे खुद मना कर रहे हैं। हम प्रशासन से बच्चों को समझाने के लिए और हमारी मदद करने का आग्रह करते हैं।
Deprecated: File Theme without comments.php is deprecated since version 3.0.0 with no alternative available. Please include a comments.php template in your theme. in /home/u754392520/domains/dastakhindustan.in/public_html/wp-includes/functions.php on line 6114