गुना (मध्य प्रदेश):- मध्य प्रदेश के गुना जिले की राघौगढ़ तहसील के पिपलिया गांव में शनिवार (28 दिसंबर) की शाम करीब 6:30 बजे एक दर्दनाक हादसा हुआ। सुमित पुत्र दशरथ मीना उम्र नौ वर्ष खेलते हुए खेत में बने एक खुले बोरवेल में गिर गया। यह बोरवेल गांव के एक किसान फूलसिंह मीना के खेत में स्थित था।
घटना कैसे हुई?
सुमित अपने दोस्तों के साथ खेत के पास खेल रहा था। खेल-खेल में वह बोरवेल के करीब पहुंच गया जिसकी गहराई करीब 45 फीट थी। बोरवेल का मुंह खुला था और किसी प्रकार की सुरक्षा का इंतजाम नहीं था। जब देर तक सुमित नहीं दिखा तो परिजनों ने उसकी तलाश शुरू की। खोजबीन के दौरान बोरवेल के पास से आवाजें सुनाई दीं जिससे पता चला कि सुमित गड्ढे में गिर गया है।
रेस्क्यू ऑपरेशन की शुरुआत
• घटना की सूचना मिलते ही स्थानीय प्रशासन और पुलिस को सूचित किया गया।
• एसडीएम विकास कुमार आनंद, पुलिस अधिकारी, और सीएमएचओ डॉ. राजकुमार ऋषिश्वर मौके पर पहुंचे।
• दो जेसीबी मशीनों से खुदाई शुरू की गई।
• भोपाल से एनडीआरएफ (राष्ट्रीय आपदा प्रतिक्रिया बल) की टीम को बुलाया गया।
• बच्चे तक पहुंचने के लिए 45 फीट की गहराई तक खुदाई की गई। इसके बाद 10 फीट लंबी टनल बनाकर सुमित को बाहर निकालने का प्रयास किया गया।
रेस्क्यू ऑपरेशन की कठिनाई
गड्ढे में पानी भरा हुआ था जिससे बच्चे तक पहुंचने में दिक्कत हुई। खुदाई के दौरान गड्ढे की दीवारें कमजोर हो रही थीं जिससे बार-बार रुकावटें आईं।ऑपरेशन में करीब 15 घंटे लगे। सुमित को बचाने का प्रयास असफल एनडीआरएफ की टीम ने सुबह सुमित को बोरवेल से बाहर निकाला और तुरंत 108 एंबुलेंस से अस्पताल भेजा गया। लेकिन डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया। CMHO डॉ. राजकुमार ऋषिश्वर ने दुख जताते हुए कहा हमने हरसंभव प्रयास किया लेकिन बच्चे को बचा नहीं सके।
सुमित के पिता दशरथ मीना और परिवार इस घटना से गहरे सदमे में हैं। पूरा गांव इस घटना से शोकाकुल है। प्रशासन ने परिवार को हरसंभव सहायता का आश्वासन दिया है। ग्रामीण इलाकों में बोरवेल के खुला रहने से बच्चों की जान को खतरा बना रहता है। प्रशासन को इस मामले में तुरंत कदम उठाकर खुले बोरवेल को बंद कराने की सख्त जरूरत है। इस घटना ने एक बार फिर ग्रामीण सुरक्षा और जागरूकता की कमी को उजागर किया है।