मैगडेबर्ग (जर्मनी):- पूर्वी जर्मनी के मैगडेबर्ग शहर में एक व्यस्त क्रिसमस बाजार उस समय दहशत में बदल गया जब एक तेज रफ्तार कार ने खरीदारी कर रहे लोगों पर चढ़ाई कर दी। इस घटना में दो लोगों की मौत हो गई जिनमें एक वयस्क और एक बच्चा शामिल हैं जबकि 68 लोग घायल हुए हैं। इनमें से 15 की हालत गंभीर बताई जा रही है।
घटना शाम के समय हुई जब बाजार में क्रिसमस की तैयारियों के लिए बड़ी संख्या में लोग मौजूद थे। अचानक एक कार बेकाबू होकर भीड़ के बीच घुस गई और वहां अफरा-तफरी मच गई। पुलिस ने तुरंत कार्रवाई करते हुए आरोपी को गिरफ्तार कर लिया। प्रारंभिक जांच में सामने आया है कि आरोपी 50 वर्षीय सऊदी डॉक्टर है जो 2006 में पहली बार जर्मनी आया था।
जानबूझकर किया गया हमला?
सैक्सोनी-एनहाल्ट राज्य की आंतरिक मंत्री तमारा जिस्चांग ने मीडिया को बताया कि यह हमला जानबूझकर किया गया हो सकता है। हालांकि अब तक हमले का मकसद साफ नहीं हुआ है। प्रारंभिक जांच में यह सामने आया है कि आरोपी इस घटना को अकेले अंजाम दे रहा था।
घटना में जिन दो लोगों की मौत हुई उनमें एक वयस्क और एक बच्चा शामिल हैं। गवर्नर रेनर हसेलॉफ ने कहा कि 15 घायल लोगों की हालत बहुत गंभीर है और मृतकों की संख्या बढ़ने की आशंका है। मैगडेबर्ग यूनिवर्सिटी अस्पताल ने बताया कि करीब 10 से 20 घायलों का इलाज अस्पताल में चल रहा है।
घटना के बाद पूरे इलाके में पुलिस तैनात कर दी गई है। तमारा जिस्चांग ने कहा हम मानते हैं कि यह हमला एक अकेले अपराधी ने किया है और शहर के लोगों के लिए अब कोई और खतरा नहीं है। घटना के मद्देनजर बाजार की सुरक्षा कड़ी कर दी गई है।
इस भयावह घटना ने बाजार में आए लोगों को झकझोर कर रख दिया है। घटना के समय बाजार में क्रिसमस की खरीदारी करने आए परिवार और बच्चे बड़ी संख्या में मौजूद थे। एक चश्मदीद ने बताया सब कुछ अचानक हुआ। लोग चीखते हुए इधर-उधर भागने लगे। यह बहुत ही डरावना था।
जर्मनी में क्रिसमस के मौके पर बाजारों में सुरक्षा को लेकर पहले भी सवाल उठाए गए हैं। इस घटना ने प्रशासन को एक बार फिर सतर्क कर दिया है। इस हमले को त्योहारों के समय में हुई हिंसक घटनाओं की एक और कड़ी के रूप में देखा जा रहा है।
पुलिस और जांच एजेंसियां इस बात का पता लगाने में जुटी हैं कि आरोपी ने यह कदम क्यों उठाया। स्थानीय प्रशासन ने बाजार को अस्थायी रूप से बंद कर दिया है और घायलों के इलाज पर ध्यान केंद्रित किया जा रहा है। यह घटना जर्मनी के लिए एक चेतावनी है खासकर त्योहारों के समय जब बाजारों में भीड़भाड़ होती है। सरकार ने ऐसी घटनाओं से निपटने के लिए सुरक्षा उपायों को मजबूत करने का आश्वासन दिया है।