तमिलनाडु (चेन्नई):- तिरुपति के प्रसिद्ध इस्कॉन मंदिर को ईमेल के माध्यम से बम धमाके की धमकी मिली, जिससे पूरे परिसर में हड़कंप मच गया। ईमेल में दावा किया गया कि ISIS से जुड़े आतंकवादी मंदिर को निशाना बनाने की योजना बना रहे हैं। धमकी मिलते ही मंदिर प्रशासन ने त्वरित कार्रवाई करते हुए इस बारे में पुलिस को सूचित किया, जिसके बाद संबंधित विभागों ने व्यापक जांच-पड़ताल शुरू की।
पुलिस की त्वरित कार्रवाई
धमकी के बारे में जानकारी मिलते ही तिरुपति पुलिस ने बिना समय गंवाए मंदिर परिसर में सघन तलाशी अभियान चलाया। इस दौरान बम निरोधक दस्ता और डॉग स्क्वॉड को भी बुलाया गया। पूरी तलाशी और जांच के बाद पुलिस को मंदिर परिसर में कोई भी संदिग्ध वस्तु या विस्फोटक सामग्री नहीं मिली, जिससे कुछ राहत मिली। इसके बावजूद, पुलिस इस मामले को गंभीरता से लेते हुए धमकी देने वाले व्यक्ति की पहचान करने के प्रयास कर रही है।
लगातार मिल रही हैं फर्जी धमकियां
धमकी मिलने की यह घटना पिछले तीन दिनों में तिरुपति मंदिर को मिलने वाली चौथी फर्जी धमकी है। सर्कल इंस्पेक्टर श्रीनिवासुलु ने कहा कि लगातार मिल रही इन फर्जी धमकियों से पुलिस सतर्क है और इस तरह की घटनाओं के पीछे छिपे कारणों का पता लगाने की कोशिश कर रही है। उन्होंने यह भी संभावना जताई कि इस बार भी ईमेल द्वारा दी गई धमकी फर्जी हो सकती है, जैसा कि पिछले मामलों में हुआ है।
होटलों को भी मिल चुकी हैं धमकियां
तिरुपति में केवल मंदिर ही नहीं, बल्कि यहां के कुछ होटल भी हाल के दिनों में बम धमाके की धमकी का शिकार हुए हैं। शनिवार को शहर के दो प्रमुख होटलों को ईमेल के जरिए धमकी दी गई कि यदि 55,000 डॉलर (लगभग 46 लाख रुपये) की फिरौती नहीं दी गई, तो होटलों को बम विस्फोट से उड़ा दिया जाएगा। पुलिस द्वारा की गई जांच के बाद यह धमकी भी फर्जी निकली। इससे पहले भी तिरुपति के कुछ अन्य होटलों को इसी तरह की धमकियां मिल चुकी हैं, जिससे वहां के स्थानीय लोग भी भयभीत हैं।
ड्रग्स तस्करी से जुड़े अपराधियों का जिक्र
इन धमकियों में ड्रग तस्करी से जुड़े कुछ लोगों का भी जिक्र किया गया है। हालिया धमकी में, ईमेल भेजने वाले ने कथित तौर पर तस्करी के सरगना जाफ़र सादिक का नाम लिया है। जाफ़र सादिक को हाल ही में नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो और प्रवर्तन निदेशालय ने तमिलनाडु में गिरफ्तार किया था। पुलिस का मानना है कि तस्करी से जुड़े कुछ अपराधियों का नाम लेने के पीछे धमकी देने वालों का उद्देश्य सुरक्षा एजेंसियों का ध्यान भटकाना हो सकता है। हालांकि, प्रशासन पूरी सतर्कता बरत रहा है और सुरक्षा में किसी भी तरह की कमी नहीं होने दी जा रही है।
स्थानीय प्रशासन की सतर्कता और कदम
लगातार मिल रही धमकियों को देखते हुए स्थानीय प्रशासन ने सुरक्षा व्यवस्था और पुख्ता कर दी है। प्रशासन ने मंदिर और होटलों के आसपास सुरक्षा बढ़ा दी है और कड़ी निगरानी रखी जा रही है। इसके अलावा, स्थानीय लोगों को भी आश्वस्त किया गया है कि उनकी सुरक्षा के लिए हर संभव कदम उठाए जा रहे हैं। प्रशासन ने जनता से अपील की है कि वे इस तरह की अफवाहों पर ध्यान न दें और किसी भी संदिग्ध गतिविधि की सूचना तुरंत पुलिस को दें।
जांच की दिशा और सुरक्षा एजेंसियों की चुनौती
पिछले कुछ दिनों में बार-बार मिल रही फर्जी धमकियां सुरक्षा एजेंसियों के लिए चुनौती बन गई हैं। इस तरह की फर्जी धमकियों की वजह से पुलिस और अन्य सुरक्षा बलों का ध्यान बार-बार बंट रहा है, जिससे अन्य जरूरी मामलों पर ध्यान केंद्रित करना मुश्किल हो जाता है। पुलिस ने ऐसे मामलों को गंभीरता से लेते हुए कहा है कि इस प्रकार की झूठी धमकियों के लिए जिम्मेदार व्यक्तियों को बख्शा नहीं जाएगा, और कानूनी कार्रवाई की जाएगी।