नई दिल्लीः वित्त मंत्रालय ने सोमवार को कहा कि अगले तीन साल में पांच लाख करोड़ डॉलर के सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) के साथ भारत दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन सकता है और सतत सुधारों से यह वर्ष 2030 तक सात लाख करोड़ डॉलर का आंकड़ा भी छू लेगा। दस साल पहले भारत 1.9 लाख करोड़ डॉलर के जीडीपी के साथ दुनिया की 10वीं बड़ी अर्थव्यवस्था था। वित्त मंत्रालय ने अर्थव्यवस्था की जनवरी माह की समीक्षा रिपोर्ट में कहा है कि महामारी के असर और वृहद-आर्थिक असंतुलन एवं खंडित वित्तीय क्षेत्र वाली अर्थव्यवस्था की विरासत के बावजूद भारत वित्त वर्ष 2023-24 में 3.7 लाख करोड़ डॉलर की अनुमानित जीडीपी के साथ पांचवीं बड़ी अर्थव्यवस्था है।
मंत्रालय ने कहा, ‘‘10 साल की यह यात्रा ठोस एवं क्रमिक दोनों तरह के कई सुधारों से गुजरी है। उन्होंने देश की आर्थिक प्रगति में महत्वपूर्ण योगदान दिया है। इन सुधारों ने आर्थिक मजबूती भी दी है जिसकी देश को भावी अप्रत्याशित वैश्विक झटकों से निपटने के लिए जरूरत होगी।” इसी के साथ मंत्रालय ने कहा कि अगले तीन वर्षों में भारत के पांच लाख करोड़ डॉलर के जीडीपी के साथ दुनिया की तीसरी बड़ी अर्थव्यवस्था बनने की उम्मीद है। समीक्षा रिपोर्ट के मुताबिक, ‘‘सरकार ने वर्ष 2047 तक ‘विकसित देश’ बनने का एक बड़ा लक्ष्य रखा है। सुधारों की यात्रा जारी रहने पर इस लक्ष्य को हासिल किया जा सकता है।”