बांग्लादेश:- बांग्लादेश में हिंदू मंदिरों पर हमले की कई घटनाएं सामने आई हैं जिनमें मंदिरों में आग लगाने और मूर्तियों को नुकसान पहुँचाने की जानकारी मिली है। यह घटनाएँ बांग्लादेश के विभिन्न हिस्सों में हुईं जिनमें विशेष रूप से मंडबपुर और चट्टोग्राम जैसे प्रमुख इलाके शामिल हैं।
मंदिरों में आगजनी:
इन हमलों में कई मंदिरों में आग लगाई गई जिससे वहाँ रखी गई मूर्तियां जल गईं और अन्य धार्मिक सामग्री नष्ट हो गई। आगजनी के पीछे कुछ असामाजिक तत्वों का हाथ होने का संदेह जताया जा रहा है।(इंटरनेशनल सोसाइटी फॉर कृष्णा कंसियसनेस) ने इस हमले की कड़ी निंदा करते हुए दावा किया कि यह हिंदू धर्म और समुदाय के खिलाफ एक सोची-समझी साजिश हो सकती है।
ISKCON का दावा:
ISKCON ने कहा कि बांग्लादेश में इस तरह की घटनाएँ धार्मिक असहिष्णुता को बढ़ावा देती हैं और हिंदू धर्म के अनुयायियों को असुरक्षित महसूस कराती हैं। संगठन ने इस बात का भी आरोप लगाया कि बांग्लादेश सरकार और स्थानीय प्रशासन इन घटनाओं पर प्रभावी कार्रवाई करने में नाकाम रहे हैं। ISKCON ने सरकार से आग्रह किया कि वह हिंदू समुदाय के धार्मिक स्थलों की सुरक्षा सुनिश्चित करे और दोषियों के खिलाफ सख्त कदम उठाए।
स्थानीय प्रशासन की प्रतिक्रिया:
स्थानीय पुलिस ने इन घटनाओं की जांच शुरू कर दी है और कई संदिग्धों को हिरासत में लिया गया है। बांग्लादेश के गृह मंत्रालय ने इस प्रकार की हिंसक घटनाओं की निंदा की है और दावा किया है कि अपराधियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी। हालांकि हिंदू समुदाय के लोग अब भी सुरक्षा की चिंता व्यक्त कर रहे हैं और उनके धार्मिक स्थलों की सुरक्षा को लेकर सवाल उठ रहे हैं।
यह घटनाएँ बांग्लादेश में धार्मिक असहमति और हिंसा के बढ़ते मामलों के संदर्भ में महत्वपूर्ण मानी जा रही हैं। हिंदू समुदाय, जो बांग्लादेश की कुल जनसंख्या का लगभग 8-10% हैं अक्सर ऐसे हमलों का शिकार होते रहे हैं और उनकी सुरक्षा एक संवेदनशील मुद्दा बन चुका है।